३० अगस्त राजेंद्र यादव के जन्मदिन पर बधाई-शरद आलोक
राजेन्द्र यादव
३० जनवरी को सुप्रसिद्ध लेखक और नयी कहानी के सूत्रधारों में से एक राजेंद्र यादव जी का जन्मदिन है। प्रेमचंद की विरासत 'हंस' के संपादक पर राजेन्द्र यादव जी को उनके वें जन्म दिन पर लाख-लाख बधाई। शरद आलोक , ओस्लो, नार्वे
मंगलवार, 31 अगस्त 2010
रविवार, 29 अगस्त 2010
नार्वे में भारतीय स्वतंत्रता दिवस १५ अगस्त पर कार्यक्रम
भारत नार्वे लेखक सेमिनार १७ अगस्त को लितेरातूरहूस ओस्लो में संपन्न हुआ
कार्यक्रम का आयोजन का समाचार पढ़िए इस ब्लाग पर : http://sureshshukla.blogspot.com/
सेमिनार में सुरेशचंद्र शुक्ल की पुस्तक 'गंगा से ग्लोमा तक' का लोकार्पण
कार्यक्रम का आयोजन का समाचार पढ़िए इस ब्लाग पर : http://sureshshukla.blogspot.com/
सेमिनार में सुरेशचंद्र शुक्ल की पुस्तक 'गंगा से ग्लोमा तक' का लोकार्पण
नार्वे की राजदूत महामहिम आन ओल्लेस्ताद ने किया नीचे चित्र में बाएं से लेखक, दिनेश कुमार नंदा प्रथम सचिव भारतीय राजदूतावास ओस्लो, संसद और एस वे के नेता हाईकी होलमोस, आन ओल्लेस्तादपुस्तक का विमोचन करती हुई, फोरम के उपाध्यक्ष हराल्ड बूरवाल्द और सञ्चालन करती हुई संगीता शुक्ल सीमोनसेन लिटरेचर हॉउस ओस्लो में।
नार्वे में भारतीय स्वतंत्रता दिवस १५ अगस्त पर कार्यक्रम :
इंडो-नार्विजन इन्फारमेशन एंड कल्चरल फोरम की तरफ से भारतीय आजादी दिवस १५ अगस्त पर
एक अंतर्राष्ट्रीय सांस्कृतिक कार्यक्रम संपन्न हुआ जिसमें भारत से आये लेखकों सर्वश्री बाल शौरी रेड्डी, प्रो हरमहेंद्र सिंह बेदी, विनोद बब्बर और डॉ गुरुनाम कौर बेदी को पुरस्कृत किया गया। शेष समाचार पढ़िए बलाग पर : http://sureshshukla.blogspot.com/
भारतीय राजदूत महामहिम बंबित ए राय के निवास पर ध्वजा रोहण
ओस्लो में होलमेनवाईएन पर राजदूत जी के निवास पर १५ अगस्त के कुछ चित्र
ओस्लो में होलमेनवाईएन पर राजदूत जी के निवास पर १५ अगस्त के कुछ चित्र
तेलगू भाषियों भारतियों द्वारा बालशौरी रेड्डी के सम्मान पर
२० अगस्त २०१० पर आयोजित कार्यक्रम के चित्र
इंडो-नार्विजन इन्फारमेशन एंड कल्चरल फोरम द्वारा आमंत्रित
सभी भारतीय लेखकों को सोविनियर भेंट किया गया
शांति जी स्वागत भाषण करती हुई
नजमा जी रेड्डी जी को सोविनियर भेंट करते हुए
बाला शौरी रेड्डी संबोधित करते हुए
बिएर्के, ओस्लो मेला २९ अगस्त २०१० के चित्र
न रात गयी न बात गयी. - शरद आलोक
न रात गयी न बात गयी-शरद आलोक
सपनों का नगर, जीवन का सफ़र,
जितने आतुर, उतनी हलचल।
पोखर मचले, बहने को विकल
स्मृतियों की कड़ी, माले में पुरी,
गांठों में बंधी, ऐसी उलझी,
साँसों में अटक प्राणों में फंसी।
मन पोखर, तन नदिया का जल,
शांति भंग करती हलचल,
भोर हुई बरसात हुई,
आ गयी बाढ़, सब मिले विकल,
पोखर फैला, नदिया बिहंसी,
पोखर-नदिया- सागर से मिल।
दिन डूबा तब रात हुई,
न रात गयी न बात गयी।
सुख के सागर दुःख के बादल,
पीर नयन का गंगाजल,
जब तक साँसें तब तक पीड़ा,
जब जीत मिली तब हार गयी।
बस एक रात की बात हुई
अनगिनत रातों का कहना,
लेनदेन व्यापार जहाँ,
कितना लेना कितना देना।
हमने सीखा वह प्रेम नहीं
जिसने गिनकर देना सीखा।
आयु घटती, जीवन बढ़ता,
जीवन परिधि, वृत्त समरसता.
बाढ़ बनाये पोखर नदिया,
बहती धीरे सागर की तरफ,
नदियों के पदचिन्हों पर सागर
उलट बहे , झरना बनकर।
सपनों का नगर, जीवन का सफ़र,
जितने आतुर, उतनी हलचल।
पोखर मचले, बहने को विकल
स्मृतियों की कड़ी, माले में पुरी,
गांठों में बंधी, ऐसी उलझी,
साँसों में अटक प्राणों में फंसी।
मन पोखर, तन नदिया का जल,
शांति भंग करती हलचल,
भोर हुई बरसात हुई,
आ गयी बाढ़, सब मिले विकल,
पोखर फैला, नदिया बिहंसी,
पोखर-नदिया- सागर से मिल।
दिन डूबा तब रात हुई,
न रात गयी न बात गयी।
सुख के सागर दुःख के बादल,
पीर नयन का गंगाजल,
जब तक साँसें तब तक पीड़ा,
जब जीत मिली तब हार गयी।
बस एक रात की बात हुई
अनगिनत रातों का कहना,
लेनदेन व्यापार जहाँ,
कितना लेना कितना देना।
हमने सीखा वह प्रेम नहीं
जिसने गिनकर देना सीखा।
आयु घटती, जीवन बढ़ता,
जीवन परिधि, वृत्त समरसता.
बाढ़ बनाये पोखर नदिया,
बहती धीरे सागर की तरफ,
नदियों के पदचिन्हों पर सागर
उलट बहे , झरना बनकर।
मंगलवार, 24 अगस्त 2010
भारत-नार्वे लेखक सेमिनार में भारतीय लेखक पुरस्कृत और पुस्तकों का विमोचन
भारत-नार्वे लेखक सेमिनार में भारतीय लेखक पुरस्कृत और पुस्तकों
का विमोचन
गंगा से ग्लोमा तक का विमोचन संपन्न: चित्र में बाएँ से सुरेशचन्द्र शुक्ल 'शरद आलोक', भारतीय दूतावास के प्रथम सचिव दिनेश कुमार नंदा, सांसद और एस वे के नेता हाइकी होलमोस Heikki Holmås, पुस्तक का विमोचन करती हुई महामहिम आन ओल्लेस्ताद HE Ms Ann Ollestad पुस्तक का विमोचन करती हुई, इंडो नार्विजन इनफार्मेशन एंड कल्चरल फोरम के उपाध्यक्ष हराल्ड बूरवाल्द Harald Burvald, कार्यक्रम का सञ्चालन करती हुई संगीता शुक्ल सीमोनसेन Sangita Shukla Simonsen
सेमिनार का सामूहिक चित्र
15 अगस्त २०१० को इंडो - नार्विजन इनफार्मेशन एंड कल्चरल एवं सांस्कृतिक फोरम के तत्वावधान में अंतर्राष्ट्रीय सांस्कृतिक समारोह संपन्न हुआ जिसमें भारतीय लेखकों को पुरस्कृत किया गया। कार्यक्रम में हिंदी, पंजाबी, तेलगू, तमिल, नार्वेजीय और उर्दू कविताओं का पथ हुआ और संगीत और नृत्य प्रस्तुत किया गया। चिली के नृत्य के अलावा कत्थक और भारत नाट्यम को बहुत सराहा गया। १५ अगस्त को बालशौरी रेड्डी, प्रो हरमहेंद्र सिंह बेदी, विनोद बब्बर, गुरूनाम कौर, दूतावास के सचिव पी बालाचंद्रन, दिनेश कुमार नंदा और याल्मर शेलान्द को पुरस्कृत किया गया।
१७ अगस्त को भारत-नार्वे लेखक सेमिनार में नार्वेजीय राजदूत महामहिम आन ओल्लेस्ताद ( HE Ms Ann Ollestad), भारतीय राजदूत बन्बित ए राय ( HE Banbit A Roy) और सांसद और कम्युनाल और कार्य मन्त्रालय के अध्यक्ष और एस वे पार्टी के उपाध्यक्ष हाइकी होलमोस ( Heikki Holmås) को सम्मानित किया गया। सेमिनार में सुरेशचन्द्र शुक्ल (Suresh-Chandra Shukla) की काव्य पुस्तक गंगा से ग्लोमा तक (Ganga se Glomma tak) का विमोचन महामहिम आन ओल्लेस्ताद ने किया. विनोद बब्बर (Vinod Babbar) की की पुस्तक 'चेतना के स्वर' का लोकार्पण भी किया गया।
का विमोचन
गंगा से ग्लोमा तक का विमोचन संपन्न: चित्र में बाएँ से सुरेशचन्द्र शुक्ल 'शरद आलोक', भारतीय दूतावास के प्रथम सचिव दिनेश कुमार नंदा, सांसद और एस वे के नेता हाइकी होलमोस Heikki Holmås, पुस्तक का विमोचन करती हुई महामहिम आन ओल्लेस्ताद HE Ms Ann Ollestad पुस्तक का विमोचन करती हुई, इंडो नार्विजन इनफार्मेशन एंड कल्चरल फोरम के उपाध्यक्ष हराल्ड बूरवाल्द Harald Burvald, कार्यक्रम का सञ्चालन करती हुई संगीता शुक्ल सीमोनसेन Sangita Shukla Simonsen
सेमिनार का सामूहिक चित्र
15 अगस्त २०१० को इंडो - नार्विजन इनफार्मेशन एंड कल्चरल एवं सांस्कृतिक फोरम के तत्वावधान में अंतर्राष्ट्रीय सांस्कृतिक समारोह संपन्न हुआ जिसमें भारतीय लेखकों को पुरस्कृत किया गया। कार्यक्रम में हिंदी, पंजाबी, तेलगू, तमिल, नार्वेजीय और उर्दू कविताओं का पथ हुआ और संगीत और नृत्य प्रस्तुत किया गया। चिली के नृत्य के अलावा कत्थक और भारत नाट्यम को बहुत सराहा गया। १५ अगस्त को बालशौरी रेड्डी, प्रो हरमहेंद्र सिंह बेदी, विनोद बब्बर, गुरूनाम कौर, दूतावास के सचिव पी बालाचंद्रन, दिनेश कुमार नंदा और याल्मर शेलान्द को पुरस्कृत किया गया।
१७ अगस्त को भारत-नार्वे लेखक सेमिनार में नार्वेजीय राजदूत महामहिम आन ओल्लेस्ताद ( HE Ms Ann Ollestad), भारतीय राजदूत बन्बित ए राय ( HE Banbit A Roy) और सांसद और कम्युनाल और कार्य मन्त्रालय के अध्यक्ष और एस वे पार्टी के उपाध्यक्ष हाइकी होलमोस ( Heikki Holmås) को सम्मानित किया गया। सेमिनार में सुरेशचन्द्र शुक्ल (Suresh-Chandra Shukla) की काव्य पुस्तक गंगा से ग्लोमा तक (Ganga se Glomma tak) का विमोचन महामहिम आन ओल्लेस्ताद ने किया. विनोद बब्बर (Vinod Babbar) की की पुस्तक 'चेतना के स्वर' का लोकार्पण भी किया गया।
रविवार, 15 अगस्त 2010
स्वाधीनता दिवस पर शुभकामनाएं
भारत की स्वाधीनता दिवस पर हार्दिक शुभकामनाएं । इस अवसर पर आज
15 August kl. 17:००
ओस्लो में शाम पांच सांस्कृतिक कार्यक्रम में हार्दिक स्वागत है।
कार्यक्रम में कविता, संगीत और नृत्य के आकर्षक कार्यक्रम प्रस्तुत किये जायेंगे। भारत से आये हमारे भारतीय भाषाओँ के लेखकों के विचार और उनकी कवितायें सुनिए और स्वाधीनता दिवस का अनुपम आनन्द लीजिये।
भारत से आये लेखक गण: प्रो . हरमहेन्द्र सिंह बेदी, बालशौरी रेड्डी , गुरूनाम कौर बेदी, विनोद बब्बर और सुरेशचन्द्र शुक्ल 'शरद आलोक
स्थान : Veitvet senter
Veitvetsenter, Oslo
शनिवार, 14 अगस्त 2010
Welcome to Kultural festival and Writer seminar
Welcome to International Kultural festival
Guest writers from left second Prof. harmahendra Sing Bedi, Dr. Gurunam Kaur, Dr. Balashowri Reddy and editor Vinod Babbar
on 15th of August 5 PM (17:00) at Veitvetsalen, Veitvet center in Oslo and
India-Norway Writer seminar
on 17th og August 1 PM (13:00) at Litterature House, Wergelandsveien in Oslo.
Guest writer from India: Dr. Balashowri Reddy, Ex editor and director, Prof. Mahender Singh Bedi, Editor Vinod Babbar and Dr. Gurunam Kaur Bedi
Chief guest: HE Ms Ann Ollestad, ambassador of India,
HE Banbit A Roy, ambassador of India in Norway and Iceland
Many pesonalities are participating.
HE Ann Ollestad will launch 'Ganga se Gloma tak' written by Suresh Chandra Shukla.
Histry of Telgu Journalism written by Dr. Balashowri Reddy, Chetna ke Svar written by Vinod Babbar, 'Kisi aur din' written by Prof Harmahender Singh Bedi.
For more information,
please contect on telephone no. 0047-22 25 51 57 and Mobile: 90 07 03 18
http//sureshshukla.blogspot.com
Guest writers from left second Prof. harmahendra Sing Bedi, Dr. Gurunam Kaur, Dr. Balashowri Reddy and editor Vinod Babbar
on 15th of August 5 PM (17:00) at Veitvetsalen, Veitvet center in Oslo and
India-Norway Writer seminar
on 17th og August 1 PM (13:00) at Litterature House, Wergelandsveien in Oslo.
Guest writer from India: Dr. Balashowri Reddy, Ex editor and director, Prof. Mahender Singh Bedi, Editor Vinod Babbar and Dr. Gurunam Kaur Bedi
Chief guest: HE Ms Ann Ollestad, ambassador of India,
HE Banbit A Roy, ambassador of India in Norway and Iceland
Many pesonalities are participating.
HE Ann Ollestad will launch 'Ganga se Gloma tak' written by Suresh Chandra Shukla.
Histry of Telgu Journalism written by Dr. Balashowri Reddy, Chetna ke Svar written by Vinod Babbar, 'Kisi aur din' written by Prof Harmahender Singh Bedi.
For more information,
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