रविवार, 21 जुलाई 2013

ओस्लो में लेखक गोष्ठी में नेलसन का जन्मदिन मनाया गया

ओस्लो में लेखक गोष्ठी में नेलसन मंडेला  का जन्मदिन मनाया गया - शरद आलोक



नेलसन  मंडेला जन्म १८ जुलाई १९१८ को दक्षिण अफ्रीका में  हुआ था।  वह स्वतंत्रता के प्रतीक  बन गये हैं. वह ९५ वर्ष के हो गये. वह काफी दिनों से बीमार चल रहे हैं और अब उनके स्वास्थ में कुछ सुधार है 
दक्षिण अफ्रीका में पहले रंग भेदभावपूर्ण प्रथकवासन  (अपार्टहाइड) व्यवस्था थी  नेलसन मंन्डेला अफ्रीकन नेशनल कांग्रेस द्वारा चलाये जा रहे आन्दोलन में सम्मिलित हुये। उन्हें २७ वर्ष का कारावास दिया गया और उन्हें वहां के शासन द्वारा एक आतंकवादी कहा गया. जब वह जेल से छूटे तो पूरी दुनिया में स्वतंत्रता के प्रतीक बन गये।         
उन्हें २५० पुरस्कार दिए गये। सन १९७९  में भारत के भारतीय सांस्कृतिक परिषद् (भारत सरकार  की ओर से १९७९ को नेहरु पुरस्कार दिया गया।  उसी वर्ष जब मदर टेरेसा को नार्वे में शांति का नोबेल पुरस्कार मिला था।  
जब  नेलसन मंडेला को सन १९९३ में ओस्लो में शांति के लिए नोबेल पुरस्कार मिला तो उस सिटी हाल में मैं भी उपस्थित था,  तब उन्होंने महात्मा गांधी के अहिंसात्मक और असहयोग आन्दोलन का
जिक्र करते हुये कहा था  कि जब वह जेल में  थे (२७ वर्ष उन्होंने जेल में बिताये थे) तब वहां उन्हें महात्मा गांधी के आदर्शों से  बहुत  कुछ सीखने को मिला था।  उन्होंने ओस्लो स्थित राजकीय चर्च दोम चर्च में प्रार्थना के बाद उनसे मिलने का अवसर मिला था.  यहाँ के एक चर्चित समाचार पत्र  दागब्लादे में एक चित्र छपा था जिसमें नेल्सन मंडेला के साथ विशप ओरफ्लोट और मेरा संयुक्त चित्र छपा था। 
मैं पिछले वर्ष विश्व हिन्दी सम्मलेन में भाग लेने दक्षिण अफ्रीका गया था तब मुझे जुहानेस्बर्ग,  प्रीटोरिया और डरबन नगर जाने का अवसर मिला था तब वहां मैंने अनेकों म्युजियमों में देखा था कि महात्मा गांधी पर प्रचुर मात्रा में साहित्य और सामान दर्शनार्थ उपलब्ध था चाहे वह गांधी म्यूजियम हो या अफ्रीकन आर्ट और राष्ट्रीय म्यूजियम। 
वहां के सभी लोग महात्मा गांधी और नेल्सन मंडेला को आदर से देखते हैं जिन्होंने दक्षिण अफ्रीकी वासियों  के लिए भेदभाव के खिलाफ लड़ाई लड़ी थी 
संयुक्त राष्ट्र संघ ने निर्णय लिया कि उनके जन्म दिन को मंडेला दिवस के नाम से मनाये जाने का निर्णय लिया।  
लेखक गोष्ठी में नेलसन का जन्मदिन मनाया
शुक्रवार १९ जुलाई को   वाइतवेत सेंटर, ओस्लो  में नेल्सन मंडेला के जन्मदिन पर एक लेखक गोष्ठी संपन्न सम्पन हुई। कार्यक्रम का शुभारम्भ केक काटने से हुआ।
   गोष्टी का आयोजन भारतीय नार्वेजीय सूचना एवं सांस्कृतिक फोरम की  ओर से किया गया था जिसमे  नेल्सन मंडेला के जीवन पर प्रकाश डाला गया तथा जिन लोगों ने अपनी कवितायें पढी उनके
 नाम थे सुरेशचन्द्र शुक्ल, इंगेर मारिये लिल्लेएंगेन, नोशीन, माया भारती, दिव्या विद्यार्थी, लीला पॉल,   राजकुमार और जावेद भट्टी तथा खालिद थथाल थे।   माया भारती ने सभी का आभार व्यक्त किया।      

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